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गौतमबुद्ध नगर के लाल प्रवीण कुमार ने पेरिस पैरालंपिक में रचा इतिहास, जीता स्वर्ण पदक

मनोज तोमर ब्यूरो चीफ दैनिक फ्यूचर लाइन टाईम्स गौतमबुद्ध नगर।
ग्रेटर नोएडा: गौतमबुद्ध नगर के जेवर निवासी प्रवीण कुमार ने पेरिस पैरालंपिक 2024 में भारत का नाम रोशन करते हुए पुरुषों की T64 श्रेणी की ऊंची कूद में स्वर्ण पदक जीता है। प्रवीण ने 2.08 मीटर की ऊंचाई लांघकर एशियाई रिकॉर्ड बनाया और पैरालंपिक में भारत के लिए एक बड़ी उपलब्धि हासिल की। यह उनका अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है।
प्रवीण, जिन्होंने टोक्यो पैरालंपिक 2021 में रजत पदक जीता था, ने इस बार अपने प्रदर्शन को और बेहतर बनाते हुए इतिहास रच दिया। मात्र 18 वर्ष की उम्र में टोक्यो में पदक जीतने वाले प्रवीण अब पेरिस में भी छा गए हैं। 
युवा प्रतिभा का उदय।
प्रवीण का जन्म गौतमबुद्धनगर के जेवर क्षेत्र के गोविंदगढ़ गांव में हुआ था। बचपन में शारीरिक चुनौतियों का सामना करने के बावजूद उन्होंने खेल की दुनिया में अपनी अलग पहचान बनाई। पहले वॉलीबॉल खेलते थे, लेकिन कोच डॉ. सत्यपाल सिंह की देखरेख में उन्होंने ऊंची कूद को अपना करियर बनाया।
कोच का महत्वपूर्ण योगदान।
प्रवीण की सफलता के पीछे उनके कोच डॉ. सत्यपाल सिंह का बड़ा योगदान है। उनकी कड़ी मेहनत और मार्गदर्शन से प्रवीण ने 2022 में एशियाई पैरा खेलों में भी स्वर्ण पदक जीता था। इसके बाद उन्होंने विश्व पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप में भी शानदार प्रदर्शन करते हुए कांस्य पदक जीता और पेरिस पैरालंपिक के लिए क्वालीफाई किया।
भारत का अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन।
प्रवीण कुमार के स्वर्ण पदक के साथ ही भारत ने पेरिस पैरालंपिक 2024 में अपने पदकों की संख्या 26 तक पहुंचा दी है। भारतीय दल का यह अब तक का सबसे शानदार प्रदर्शन है, और प्रवीण की इस ऐतिहासिक जीत ने पूरे देश को गर्व से भर दिया है। 
प्रवीण की इस सफलता ने साबित कर दिया कि किसी भी चुनौती का सामना मेहनत और लगन से किया जा सकता है।

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